FASTag बैलेंस पर RBI का नया अपडेट! जानिए ई-मैंडेट फ्रेमवर्क में क्या बदल गया है!
RBI का FASTag और NCMC के लिए बड़ा अपडेट
भारतीय रिजर्व बैंक (RBI) ने FASTag और नेशनल कॉमन मोबिलिटी कार्ड (NCMC) के लिए ई-मैंडेट फ्रेमवर्क में एक महत्वपूर्ण अपडेट की घोषणा की है।
- अपडेट की घोषणा: RBI ने कहा है कि FASTag और NCMC की ऑटो-रिप्लेनिशमेंट को ई-मैंडेट फ्रेमवर्क के तहत शामिल किया जाएगा।
- उद्देश्य: इस कदम का उद्देश्य उन रेकरिंग ट्रांजैक्शन को सरल बनाना है जिनमें Fixed periodicity की कमी होती है।
बदलाव क्या होगा
- ऑटोमेटिक बैलेंस रीफिल: यूजर्स अब अपने बैलेंस को उनकी निर्धारित सीमा से नीचे जाने पर ऑटोमैटिक रूप से रीफिल कर सकेंगे।
- प्रोसेस: जब बैलेंस ग्राहक द्वारा निर्धारित सीमा से कम हो जाएगा, तो ई-मैंडेट स्वतः FASTag और NCMC की भरपाई करेगा।
- प्री-डेबिट नोटिफिकेशन: इन ट्रांजैक्शन्स को 24 घंटे पहले प्री-डेबिट नोटिफिकेशन भेजने की सामान्य आवश्यकता से मुक्त कर दिया जाएगा।
ई-मैंडेट फ्रेमवर्क क्या है
- परिचय: ई-मैंडेट फ्रेमवर्क 2019 में शुरू किया गया था और इसका उद्देश्य ग्राहकों को उनके अकाउंट में आने वाले डेबिट के बारे में सूचित करके उनकी सुरक्षा बढ़ाना था।
- लेटेस्ट एडजस्टमेंट: इस नवीनतम अपडेट के साथ, RBI उन मामलों में लचीलेपन की आवश्यकता को स्वीकार करता है जहां ट्रांजैक्शन्स ऑटोमैटिक होते हैं, जैसे कि टोल पेमेंट और मोबिलिटी कार्ड टॉप-अप।