IFSC में सॉवरेन ग्रीन बॉंड्स में निवेश की मंजूरी: RBI ने एफपीआई को दी अनुमति
रिजर्व बैंक ने भारतीय इंटरनेशनल फाइनेंशियल सर्विस सेंटर (IFSC) के माध्यम से भारत से बाहर रहने वाले निवेशकों को सॉवरेन ग्रीन बॉन्ड्स खरीदने की मंजूरी दे दी है। इसके तहत निम्नलिखित बातें प्रमुख हैं:
नोटिफिकेशन की मुख्य बातें:
- खरीद और बिक्री की अनुमति: भारत से बाहर रहने वाले निवेशक जो IFSC में डिपॉजिटरी के साथ सिक्योरिटी अकाउंट खोले हुए हैं, अब रिजर्व बैंक के निर्धारित नियमों के तहत भारत सरकार के द्वारा जारी सॉवरेन ग्रीन बॉन्ड्स को खरीद या बेच सकते हैं।
- रेगुलेशन में बदलाव: रिजर्व बैंक ने फॉरेक्स मैनेजमेंट (डेट इंस्ट्रूमेंट्स) रेगुलेशन 2024 में बदलाव की अधिसूचना भी जारी की है।
- ग्रीन बॉन्ड्स का उद्देश्य: सॉवरेन ग्रीन बॉन्ड्स सरकारी बॉन्ड्स होते हैं जिनका उपयोग पर्यावरण के अनुकूल प्रोजेक्ट्स के लिए फंड जुटाने में किया जाता है। इनमें रीन्यूएबल एनर्जी, क्लीन ट्रांसपोर्ट आदि जैसे प्रोजेक्ट्स शामिल हैं।
महत्वपूर्ण बिंदु:
- एफपीआई की मंजूरी: रिजर्व बैंक के गवर्नर शक्तिकांता दास ने अप्रैल की पॉलिसी समीक्षा में कहा था कि फॉरेन पोर्टफोलियो इन्वेस्टर्स (FPI) को IFSC में ग्रीन बॉन्ड्स में ट्रेड करने की मंजूरी दी जाएगी।
- निवेश का विकल्प: ग्रीन बॉन्ड्स पर्यावरण से जुड़े प्रोजेक्ट्स में निवेश करने की इच्छा रखने वाले निवेशकों के लिए एक विकल्प प्रदान करते हैं, साथ ही उन्हें रिटर्न का भी अवसर मिलता है।
इस कदम से विदेशी निवेशकों को भारतीय बाजार में ग्रीन बॉन्ड्स में निवेश का मौका मिलेगा, जो पर्यावरणीय परियोजनाओं को समर्थन देने के लिए फंडिंग जुटाने में सहायक होगा।